1.हर एक गम का किनारा नहीं होता
हर तरफ ख़ुशी का नज़ारा नहीं होता
बीत जाए ये लम्हे कुछ ये दुआ है हमारी
क्यूंकि हर बार वक़्त हमारा नहीं होता
2.जिंदगी ने जिसको जो जमीन बाटी
उसको वही रास न आई
जिसका जो सपना था
वो किसी और ने ही जिया
राहें तो कभी मेरी भी मुश्किल न थी
फिर रास्ता तेरा ही क्यूँ हमेशा असान लगा
3.कुछ ख्वाब जो पलको की खिड़की से है झांकते
2.जिंदगी ने जिसको जो जमीन बाटी
उसको वही रास न आई
जिसका जो सपना था
वो किसी और ने ही जिया
राहें तो कभी मेरी भी मुश्किल न थी
फिर रास्ता तेरा ही क्यूँ हमेशा असान लगा
3.कुछ ख्वाब जो पलको की खिड़की से है झांकते
कुछ सिसकियो जो आवाज़ का दामन ही नहीं है थामती
कुछ दायरे जो दायरों में ही नहीं है सिमटते
कुछ खामोशियाँ जो आइने से है ताकती
bahut sundar panktiyan hai...last wali ...khaas kar... :)
ReplyDeletethanx :)
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